नई दिल्ली । उच्चतम न्यायालय ने 13 सितंबर को होने वाली ‘नीट‘ परीक्षा को स्थगित या रद्द करने का अनुरोध करने वाली याचिकाओं पर बुधवार को सुनवाई से इनकार कर दिया।
न्यायमूर्ति अशोक भूषण की अगुवाई वाली पीठ ने कहा कि प्राधिकारी चिकित्सा पाठ्यक्रमों में दाखिलों के लिए कोविड-19 वैश्विक महामारी के बीच नीट परीक्षा कराने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएंगे। पीठ ने कहा, ‘माफ कीजिए, हम सुनवाई नहीं करना चाहते।’
न्यायालय ने नीट और जेईई की परीक्षा की अनुमति देने संबंधी 17 अगस्त के उसके आदेश पर पुनर्विचार के लिए गैर-भाजपा शासित छह राज्यों के मंत्रियों की याचिका सहित सभी याचिकाएं चार सितंबर को खारिज कर दीं थीं, जिसके साथ ही नीट और जेईई परीक्षाओं का रास्ता साफ हो गया था।
बता दें कि देशभर में इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई मेन सफलतापूर्वक पूरा कराने के बाद अब नीट परीक्षा की तैयारी शुरू हो चुकी है। परीक्षा आयोजित कराने के लिए नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) ने पूरी तैयारी कर ली है। पूरे देश में 13 सितंबर को नीट परीक्षा का आयोजन होगा, जिसके लिए 15 लाख से ज्यादा विद्यार्थियों ने पंजीकरण करवाया है।
एनटीए के अधिकारी ने बताया कि कोरोना महामारी के कारण दो-दो बार निरस्त होने के बाद सितंबर में ये महत्वपूर्ण परीक्षाएं आयोजित की जा रही हैं। उन्होंने बताया कि नीट के लिए 15.97 लाख छात्रों ने पंजीकरण करवाया है। जेईई के विपरीत मेडिकल प्रवेश परीक्षा पेन और पेपर युक्त होगी। सामाजिक दूरी का ध्यान रखते हुए एनटीए ने परीक्षा केंद्रों की संख्या 2,546 से बढ़ाकर 3,843 कर दी है।
वहीं प्रत्येक कक्षा में छात्रों की संख्या 24 से घटा कर 12 कर दी गई है। परीक्षा केंद्र से लेकर प्रवेश और निकासी तक सामाजिक दूरी का ध्यान रखने को लेकर पर्याप्त व्यवस्था की गई है। छात्रों के लिए मास्क, सैनिटाइजर के अलावा सुरक्षा प्रोटोकॉल का ध्यान रखने के लिए एडवाइजरी भी जारी की गई है।
बताते चले कि कई राजनैतिक पार्टीयों और संगठनों ने परीक्षा रोकने के लिए देशभर में प्रदर्शन भी किये थे।
0 टिप्पणियाँ